ओह .. यह तो कभी सोचा ही नहीं ..
जी हाँ बिलकुल ठीक बात है -अलबत्ता शैतान को दूर भागने या मार गिराने की कोशिश में बहुत शक्ति खोती जाती है ...!!गहन सोच के लिए आभार
बिलकुल ठीक बात
satya hai..nakraatmak ,vinaashak shaktiyaanaur prabhu ki shaktiyaan dono hain vyaapt...
ठीक वैसे ही ... मित्र हमें गुमराह नहीं करता , गुमराह करनेवाला दुश्मन होता है , वही गड्ढे बनाता है
सत्य वचन ... बिल्कुल सही कहा है आपने ।
बात तो सही है ...
bat to sahi hai, ishvar kabhi anachar aur galat marg par chalane ki rah nahin dikhata hai. hamare achran ko shaitan hi digbhramit kr sakta hai.
भगवान और शैतान,श्रृष्टि और विनाश शायद एक ही सिक्के के दो पहलु हैं पर दोनों की मूर्तता अलग-अलग,अस्तित्व अलग-अलग,सो कर्म परिधि भी अलग-अलग.बहुत सुन्दर एवं सूक्षम जीवन-दर्शन.
मात्र 17 शब्दों में आपनें कर्म सिद्धांत, जीवनदर्शन और मानसिकताएं उल्लेखित कर दी।गागर में सागर!!
ye hamne kabhi socha hi nhi...
aur shaitan ko dhanyavaad jiski wajah se prabhu ko apne hone ka ahsaas karwana padta hai.
और वो शैतान हमारे अन्दर ही कहीं छुपा होता है
यह प्रेरक विचार आपके प्रोत्साहन से एक नये विचार को जन्म देगा ..आपके आगमन का आभार ...सदा द्वारा ...
ओह .. यह तो कभी सोचा ही नहीं ..
जवाब देंहटाएंजी हाँ बिलकुल ठीक बात है -
जवाब देंहटाएंअलबत्ता शैतान को दूर भागने या मार गिराने की कोशिश में बहुत शक्ति खोती जाती है ...!!
गहन सोच के लिए आभार
बिलकुल ठीक बात
जवाब देंहटाएंsatya hai..
जवाब देंहटाएंnakraatmak ,vinaashak shaktiyaan
aur prabhu ki shaktiyaan dono hain vyaapt...
ठीक वैसे ही ... मित्र हमें गुमराह नहीं करता , गुमराह करनेवाला दुश्मन होता है , वही गड्ढे बनाता है
जवाब देंहटाएंसत्य वचन ... बिल्कुल सही कहा है आपने ।
जवाब देंहटाएंबात तो सही है ...
जवाब देंहटाएंbat to sahi hai, ishvar kabhi anachar aur galat marg par chalane ki rah nahin dikhata hai. hamare achran ko shaitan hi digbhramit kr sakta hai.
जवाब देंहटाएंभगवान और शैतान,श्रृष्टि और विनाश शायद एक ही सिक्के के दो पहलु हैं पर दोनों की मूर्तता अलग-अलग,अस्तित्व अलग-अलग,सो कर्म परिधि भी अलग-अलग.बहुत सुन्दर एवं सूक्षम जीवन-दर्शन.
जवाब देंहटाएंमात्र 17 शब्दों में आपनें कर्म सिद्धांत, जीवनदर्शन और मानसिकताएं उल्लेखित कर दी।
जवाब देंहटाएंगागर में सागर!!
ye hamne kabhi socha hi nhi...
जवाब देंहटाएंaur shaitan ko dhanyavaad jiski wajah se prabhu ko apne hone ka ahsaas karwana padta hai.
जवाब देंहटाएंऔर वो शैतान हमारे अन्दर ही कहीं छुपा होता है
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